Monday, July 21, 2025
spot_img

“छांगुर बाबा की ‘जेनम’ साजिश: धर्मांतरण, फर्जी निकाह और 2047 में इस्लामी राज की प्लानिंग!”

धार्मिक आस्था को छलावा बनाकर कट्टरता की खतरनाक राह पर ले जाने वाली एक चौंकाने वाली कहानी उत्तर प्रदेश से सामने आई है।

ठाकुर बख्श सिंह की रिपोर्ट

खुद को ‘छांगुर बाबा’ बताने वाले जलालुद्दीन उर्फ छांगुर पर लगे गंभीर आरोपों ने पूरे प्रदेश में हड़कंप मचा दिया है। एक युवती ने जो खुलासे किए हैं, वे सिर्फ व्यक्तिगत उत्पीड़न की कहानी नहीं, बल्कि धार्मिक कट्टरता, जबरन धर्मांतरण और सुनियोजित साजिशों का पर्दाफाश करते हैं — जिसका उद्देश्य 2047 तक भारत को इस्लामी राष्ट्र बनाना बताया गया है।

2019 में औरैया की एक महिला की मुलाकात एक युवक ‘रुद्र शर्मा’ से होती है। वह दावा करता है कि लखनऊ में छांगुर बाबा के पास जाने से उनके पति की शराब की लत छूट जाएगी। धार्मिक आस्था और घरेलू संकट के चलते पूरा परिवार बाबा के पास पहुंचता है, जहां उन्हें एक ताबीज और कुछ दुआएं दी जाती हैं।

बाबा की छवि धीरे-धीरे परिवार पर प्रभाव जमाने लगती है। रुद्र शर्मा को बाबा का खास बताया जाता है। यहीं से एक संगठित रणनीति की शुरुआत होती है, जो केवल इलाज का बहाना भर नहीं, बल्कि मानसिक नियंत्रण और आगे के षड्यंत्र की नींव थी।

🕵️‍♀️ रुद्र शर्मा नहीं, मेराज अंसारी निकला

कुछ ही समय में युवती को पता चलता है कि ‘रुद्र शर्मा’ उसका असली नाम नहीं है — वह वास्तव में मेराज अंसारी है। सबसे चौंकाने वाली बात यह थी कि उसके पास फर्जी पहचान यानी ‘रुद्र शर्मा’ नाम से आधार कार्ड भी मौजूद था। मेराज ने पांच साल तक इस परिवार से रिश्ता बनाए रखा और बहनों समेत अक्सर घर आता-जाता रहा।

Read  उत्तर प्रदेश में सरकारी स्कूलों का विलय : बदलाव की शुरुआत, उम्मीदों के साथ चिंताएं भी

🕌 फतेहपुर की मस्जिद में जबरन निकाह, नामकरण और कैद

2024 में मेराज युवती को छांगुर बाबा से मिलवाने के बहाने कानपुर ले जाने की बात करता है, लेकिन उसे फतेहपुर की एक मस्जिद में ले जाया जाता है। वहां न सिर्फ जबरन निकाह कराया गया, बल्कि वीडियो कॉल पर मौजूद छांगुर बाबा ने उसका नाम बदलकर ‘जेनम’ रख दिया।

इसके बाद उसे तीन महीने तक एक अज्ञात स्थान पर कैद रखा गया। पूरी योजना इतनी सुनियोजित थी कि उसके चारों ओर नकली मां, अब्बू और भाई का एक फर्जी परिवार तैयार किया गया, जो बाबा से लगातार संपर्क में रहते थे और 2047 तक भारत को इस्लामी राष्ट्र बनाने की योजना पर चर्चाएं करते थे।

💻 ब्लैकमेलिंग, हत्या और जेल

किसी तरह युवती वहां से बच निकलती है। लेकिन तब तक मेराज ने उसका अश्लील वीडियो बना लिया था। वह उसे दिखाकर युवती की छोटी बहन से शादी की मांग करता है। पिता ने प्रतिरोध में मेराज के सिर पर लोहे की रॉड से वार कर दिया, जिससे उसकी मौत हो गई।

Read  करणी सेना पर हमला, POK पर हुंकार! गोंडा में गरजे शिवपाल यादव

इसके बाद युवती के माता-पिता को जेल भेज दिया गया। युवती एक बार फिर अकेली पड़ गई।

🧾 FIR में अड़चनें और राजनीतिक संरक्षण

इस घटना के बाद युवती ने जब मेराज और छांगुर बाबा के खिलाफ FIR दर्ज करवाने की कोशिश की, तो स्थानीय पुलिस ने शुरू में शिकायत लेने से इनकार कर दिया। बाद में लखनऊ जाकर FIR दर्ज हुई, कोर्ट में बयान भी हुए। लेकिन अभी तक कोई गिरफ्तारी नहीं हुई है।

जांच में सामने आया कि मेराज का राजनीतिक कनेक्शन भी था। उसके पिता रियाज अहमद समाजवादी पार्टी से चुनाव लड़ चुके थे और मेराज खुद पार्टी से जुड़ा कार्यकर्ता था।

👧 शिकार पर और भी लड़कियाँ

सबसे खतरनाक तथ्य यह है कि युवती का दावा है कि यह मामला सिर्फ उसी तक सीमित नहीं है। ऐसी कई लड़कियां इस नेटवर्क के निशाने पर हैं। वह एक लड़की का ज़िक्र करती है जो कानपुर की रहने वाली है और उसे “ब्रेनवॉश” कर दिया गया है। यह लोग लगातार उसके घर आते-जाते हैं।

🧠 मानसिक नियंत्रण और कट्टरता फैलाने का नेटवर्क

युवती के दावे के अनुसार, यह केवल एक धर्मांतरण का मामला नहीं, बल्कि धार्मिक कट्टरता के प्रचार और मानसिक नियंत्रण के जरिए एक संगठित साजिश का हिस्सा है। नकली पहचान, झूठे परिवार, वीडियो ब्लैकमेल, और विचारधारा आधारित ब्रेनवॉश — ये सब इस नेटवर्क की गहराई को उजागर करते हैं।

Read  बारिश बनी काल : कच्चा मकान ढहा, महिला की मौत, पति गंभीर घायल, मचा कोहराम

⚖️ प्रशासन की भूमिका और कानूनी गंभीरता

इस केस में प्रशासन की धीमी कार्रवाई और आरोपियों का खुले में घूमना बेहद गंभीर चिंता का विषय है। यदि यह मामला केवल “अंधविश्वास” या “लव जिहाद” तक सीमित होता, तब भी कानून को सख्ती से पेश आना चाहिए था। लेकिन जब किसी एक व्यक्ति की पहचान के पीछे राजनीतिक संरक्षण, धार्मिक कट्टरता और संगठित नेटवर्क के संकेत मिल रहे हों, तब यह केवल अपराध नहीं, बल्कि राष्ट्रीय सुरक्षा का प्रश्न बन जाता है।

क्या छांगुर बाबा अकेला है?

जलालुद्दीन उर्फ छांगुर बाबा केवल एक नाम नहीं, बल्कि एक गहरी, खतरनाक सोच का प्रतीक बनता जा रहा है — जो धर्म और विश्वास की आड़ में युवाओं को बहकाकर देश के ताने-बाने को चुनौती देने की साजिश कर रहा है।

सवाल यह नहीं है कि छांगुर बाबा को कब गिरफ्तार किया जाएगा, सवाल यह है कि ऐसी सोच और नेटवर्क पर सरकार और समाज मिलकर कब सर्जिकल स्ट्राइक करेगा?

🆑अगर आप इस मुद्दे पर अपनी राय देना चाहते हैं या आपके पास कोई जानकारी है, तो समाचार दर्पण 24 से संपर्क करें। यह रिपोर्टिंग जारी रहेगी।

Related Articles

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Stay Connected

0FansLike
0FollowersFollow
22,400SubscribersSubscribe

फर्जी दस्तखत, फर्जी मरीज, फर्जी खर्च! डॉ. शैलेन्द्र सिंह ने सरकारी योजना को बनाया पैसा उगलने की मशीन

चित्रकूट के रामनगर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के अधीक्षक डॉ. शैलेन्द्र सिंह पर लगे भारी वित्तीय अनियमितताओं और आयुष्मान योजना के दुरुपयोग के आरोप। पढ़ें...

नगर प्रशासन और तहसील की लापरवाही से फूटा जमीनी विवाद का गुस्सा, भाजपा बूथ अध्यक्ष समेत परिवार पर जानलेवा हमला

अर्जुन वर्मा की रिपोर्ट  गोरखपुर मेडिकल कॉलेज में भर्ती भाजपा बूथ अध्यक्ष व उनके परिवार पर जमीनी विवाद को लेकर हमला। चार साल से प्रशासन...
- Advertisement -spot_img
spot_img

अस्पताल में मानवता शर्मसार: ऑक्सीजन के लिए तड़पता मरीज ज़मीन पर बैठा, अखिलेश यादव ने सरकार पर बोला हमला

जगदंबा उपाध्याय की रिपोर्ट उत्तर प्रदेश के आज़मगढ़ सदर अस्पताल में एक टीबी मरीज की ज़मीन पर बैठकर ऑक्सीजन लेने की वायरल तस्वीर ने प्रदेश...

न्यूज़ पोर्टल को गैरकानूनी बताना कानून की अवहेलना है—पढ़िए सच्चाई

जगदंबा उपाध्याय की खास रिपोर्ट हाल के दिनों में एक भ्रामक और तथ्यविहीन खबर सोशल मीडिया, व्हाट्सएप और कुछ पोर्टलों पर बड़ी तेजी से फैल...