बांदा में मौसम के उतार-चढ़ाव से डायरिया और बुखार जैसे संक्रमण बढ़े हैं। एक युवक की मौत, 14 की हालत गंभीर, जिला अस्पताल में भर्ती। जानें डॉक्टर की जरूरी सलाह।
सुशील कुमार मिश्रा की रिपोर्ट
बांदा। जिले में मौसम के बार-बार बदलते मिजाज ने स्वास्थ्य संकट खड़ा कर दिया है। तेज धूप, आंधी और बारिश की आवृत्ति के चलते वायरल संक्रमण व डायरिया के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। नतीजतन, स्थानीय अस्पतालों में मरीजों की संख्या में अचानक इजाफा देखने को मिल रहा है।
इसी बीच एक बेहद दुखद घटना सामने आई है। चमरौडी मोहल्ला निवासी बदलू के 18 वर्षीय पुत्र सचिन की बुधवार रात डायरिया की चपेट में आने से मौत हो गई। उसे गंभीर अवस्था में जिला अस्पताल लाया गया था, जहां इलाज के दौरान उसकी जान चली गई।
इसके अतिरिक्त, डायरिया और पेट संबंधी बीमारियों के चलते 14 अन्य मरीजों को भी अस्पताल में भर्ती कराया गया है। इन मरीजों में विभिन्न उम्र वर्ग के लोग शामिल हैं—
दामिनी (9 माह) – काशीराम कॉलोनी, करन (32 वर्ष) – जरैली कोठी, सत्यम (3 वर्ष) – गुरेह गांव, अजहर (6 वर्ष) – अलीगंज, हर्षपाल (3 वर्ष) – बरेठीकला, गुड़िया (27 वर्ष) – निम्नीपार, जयसिंह (20 वर्ष) – करहिया, मनोदिया (70 वर्ष) – नजरबाग, छोटू (46 वर्ष) – छाबीतालाब
जिला अस्पताल के चिकित्सक डॉ. विनीत सचान के अनुसार, यह स्थिति मौसम में अचानक होने वाले बदलावों के कारण उत्पन्न हो रही है। डॉ. सचान ने लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी हैऋ
संक्रमण से बचाव के लिए जरूरी सावधानियां
- केवल स्वच्छ और उबला हुआ पानी ही पिएं
- बासी भोजन से परहेज करें, ताजा खाना ही खाएं
- धूप में निकलते समय गमछा, छाता या कैप का इस्तेमाल करें
- दोपहर की तेज धूप में लंबी दूरी की यात्रा से बचें
- तरल पदार्थों जैसे नींबू पानी, छाछ, ओआरएस आदि का सेवन करें
- बाजार के तैलीय और खुले खाद्य पदार्थों से दूरी बनाए रखें
मौसम में हो रहे तीव्र उतार-चढ़ाव के कारण बांदा में संक्रामक बीमारियों की दर में खतरनाक बढ़ोतरी देखी जा रही है। समय पर सतर्कता और स्वच्छता से ही इस स्थिति से निपटा जा सकता है।